अपने नाम के अनुरूप अक्षय तृतीया शुभ दिन,
सूर्य-चंद्रमा उच्च राशि में रहते अपनी इस दिन।
विवाह गृहप्रवेश व व्यापार आरंभ करें इस दिन,
है अबूझ मुहूर्त और पुण्य फल वाला यही दिन।।
महत्वपूर्ण है इसदिन का किया दान और स्नान,
प्रभु विष्णु लक्ष्मी का पूजन होता विधि विधान।
हरवर्ष बैसाख माह शुक्ल पक्ष तृतीया में आता,
इसी दिन अवतार लिया परशुराम जी भगवान।।
है भगवन विष्णु के एक छठे आप ऐसे अवतार,
अष्टजीवित महापुरुषों में परशुरामजी भगवान।
अक्षय तृतीया पे करते जो किसी चीज़ का दान,
चार धाम तीर्थ स्थल जैसा मिलता फल समान।।
शास्त्रों ने भी इसदिन को स्वयंसिद्ध मुहूर्त माना,
मंगलमय होता वह कार्य जिसने इसदिन ठाना।
24 रूपों में लिया धरा पर देवताओं ने अवतार,
इसदिन पवित्र नदियों में स्नान को महत्व माना।।
अनजानो में पापों का दान से बोझ हल्का होता,
इसीदिन मिला आशीष बेहद फलदायक होता।
चार-धाम उल्लेखनीय बद्रीनारायण पट खुलता,
वृंदावन में बिहारी जी के दर्शन सभी को होता।।
सैनिक की कलम ✍️
गणपत लाल उदय, अजमेर राजस्थान
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