भारतीय सिनेमा इंडस्ट्री में बिहार के कलाकारों के योगदान को कभी भी कम करके नहीं देखा जा सकता है। बिहार के कलाकारों ने सिनेमा और टीवी इंडस्ट्री में अपना अभूतपूर्व योगदान दिया है। इसमें ऐसा भी अभिनेता का नाम भी शुमार है, जिसने सिनेमा से लेकर टेलीविजन तक दर्शकों के दिल में दशकों से अपनी जगह बनाए हुए हैं। उस अभिनेता का नाम कृष्णकांत उर्फ के के गोस्वामी है। के के गोस्वामी बिहार के टॉप 10 अभिनेताओं में से आते हैं जिन्होंने सिनेमा इंडस्ट्री के लिए अभूतपूर्व योगदान दिया है और वह आज मुंबई में सितारे की तरह चमक रहे हैं।
यूं तो बिहार से शत्रुघ्न सिन्हा,शेखर सुमन,मनोज बाजपेयी,संजय मिश्रा पंकज त्रिपाठी,अभिमन्नु सिंह,जैसे कई कलाकारों ने अपनी अदाकारी से मुंबई की इंडस्ट्री में झंडे गाड़े हैं। लेकिन इन सब के बीच के के गोस्वामी का योगदान भी किसी से कम नहीं है। मुजफ्फरपुर से आने वाले के के गोस्वामी को मनोरंजन उद्योग में सर्वश्रेष्ठ कैरेक्टर आर्टिस्ट के रूप में जाना जाता है। विकराल गबराल को भला कौन भुला सकता है, जिसमें उन्हों गबराल का किरदार निभाया था और हर बालमन में अपनी अलग पहचान बना ली थी। जरा उस दौर को भी याद करिए जब टीवी घर घर में पहुंच रही थी और ज्यादातर लोग दूरदर्शन के जरिए टीवी का आनंद लेते थे। उस दौर में सबसे चर्चित धारावाहिक शक्तिमान को याद करिए, जिसमें उन्होंने खली बली की भूमिका निभाई थी जो उस धारावाहिक की सबसे महत्वपूर्ण करी थी। उसी दौर में बोनापार्ट भी आपको याद ही होगा। यह किरदार बच्चों के बीच काफी फेमस जूनियर जी का है। शकलाका बूम बूम में उन्होंने क्रिस्टल की भूमिका निभाई थी। मजूबा का अजूबा में बगरम बूटा के किरदार ने उन्हें ख्याति की बुलंदियों पर पहुंचाया था। टीवी के अलावा सिनेमा में भी केके गोस्वामी ने सराहनीय भूमिका निभाई।
गुटर गू , भूत अंकल जैसी कई हिंदी फिल्मों के साथ-साथ के के गोस्वामी ने भोजपुरी सिनेमा में भी अपनी शानदार उपस्थिति दर्ज कराई और बता दिया कि उनका अभिनय किसी भाषा क्षेत्र का मोहताज नहीं। वह कलाकार हैं और उनमें कला की असीम संभावनाएं है , जिसे उन्होंने हमेशा साबित किया और यही वजह है कि आज मुंबई में जब 10 बिहारी अभिनेताओं का नाम लिया जाता है तो उसमें के के गोस्वामी को भी शामिल किया जाता है। के के गोस्वामी रील लाइफ के बाद रियल लाइफ में भी बेहद सहज सरल और मिलनसार है। उन्होंने अपने करियर में कई उतार-चढ़ाव देखे लेकिन अपने लगन और जीत के साथ आगे बढ़ते रहें जिसका नतीजा यह रहा कि आज मुंबई में चमकने वाले बिहार के एक ध्रुव तारा के समान हैं।